Patna Property Tax: पटना में रहने वाले मकान मालिकों और दुकानदारों के लिए यह खबर राहत देने वाली नहीं है। राजधानी में प्रॉपर्टी टैक्स को लेकर बड़ा बदलाव किया गया है, जिसके बाद हजारों लोगों को अब पहले से ज्यादा टैक्स चुकाना पड़ेगा। पटना नगर निगम की नई व्यवस्था के अनुसार कई इलाकों में संपत्ति कर डेढ़ गुना से लेकर दोगुना तक बढ़ गया है। इससे न सिर्फ आवासीय संपत्तियों पर असर पड़ेगा, बल्कि व्यावसायिक प्रतिष्ठानों पर भी अतिरिक्त आर्थिक बोझ बढ़ेगा।
Patna Property Tax: पटना में क्यों बढ़ा प्रॉपर्टी टैक्स?
इस बढ़ोतरी की मुख्य वजह शहर की सड़कों का पुनर्वर्गीकरण है। पटना नगर निगम ने शहर की 19 सड़कों को नई श्रेणी में शामिल करते हुए उन्हें ‘प्रधान मुख्य सड़क’ घोषित कर दिया है। इसके बाद इन सड़कों पर स्थित करीब 5,500 से अधिक मकान और दुकानें सीधे उच्च टैक्स दायरे में आ गई हैं। नगर निगम का कहना है कि यह फैसला कर निर्धारण को व्यवस्थित और समान बनाने के उद्देश्य से लिया गया है।
नई व्यवस्था के तहत संपत्ति कर की दरों में भी बदलाव किया गया है। सामान्य सड़कों पर स्थित संपत्तियों की तुलना में मुख्य सड़क और प्रधान मुख्य सड़क पर मौजूद मकान व दुकानों पर ज्यादा टैक्स लगाया जाएगा। खासकर प्रधान मुख्य सड़क पर स्थित संपत्तियों से सबसे अधिक टैक्स वसूला जाएगा, जो पहले की तुलना में लगभग डेढ़ गुना ज्यादा है। इसका सीधा असर उन इलाकों में रहने वाले लोगों पर पड़ेगा, जहां अब सड़क की श्रेणी बदली गई है।
इन व्यवसायों को देना होगा दोगुना टैक्स
केवल आवासीय संपत्तियां ही नहीं, बल्कि व्यावसायिक प्रतिष्ठानों पर भी टैक्स का बोझ बढ़ाया गया है। होटल, जिम, हेल्थ क्लब, विवाह भवन, निजी अस्पताल, बैंक, बीमा कंपनियां और बड़े गोदामों पर अब दोगुना कर देना होगा। वहीं कोचिंग संस्थान, निजी स्कूल-कॉलेज, नर्सिंग होम, शोरूम, शॉपिंग मॉल, सिनेमा हॉल और रेस्टोरेंट पर डेढ़ गुना टैक्स वसूला जाएगा। नगर निगम का मानना है कि व्यावसायिक गतिविधियों से होने वाली आय को देखते हुए यह वृद्धि जरूरी है।
बकाया टैक्स वसूली के लिए सख्ती
प्रॉपर्टी टैक्स (Patna Property Tax) की बढ़ोतरी के साथ-साथ नगर निगम ने बकाया टैक्स की वसूली को लेकर भी सख्ती शुरू कर दी है। इसके लिए विशेष टीमों का गठन किया गया है, जो घर-घर जाकर टैक्स भुगतान को लेकर लोगों को जागरूक करेंगी। हालांकि निगम की ओर से वन टाइम सेटलमेंट योजना के तहत राहत भी दी जा रही है, जिसके अंतर्गत एकमुश्त भुगतान करने पर ब्याज और जुर्माने में छूट मिलेगी।
नगर निगम के अनुसार यह नई टैक्स व्यवस्था 19 मई 2025 से प्रभावी मानी जाएगी। बिहार नगरपालिका अधिनियम, 2007 के तहत जारी अधिसूचना के बाद इस फैसले को लागू किया जा रहा है। आने वाले दिनों में जैसे-जैसे टैक्स नोटिस जारी होंगे, वैसे-वैसे राजधानी के लोगों पर इसका असर साफ दिखाई देगा। कुल मिलाकर, पटना में प्रॉपर्टी टैक्स की यह बढ़ोतरी नगर निगम के राजस्व को तो मजबूत करेगी, लेकिन आम लोगों की जेब पर इसका भार बढ़ना तय है।
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